वरिष्ठ नागरिकों को लक्षित यह पुस्तक स्वामीजी ने आदि शंकराचार्य रचित "साधना पंचकम" को आधार बनाकर लिखी है |
उनकी व्याख्या दिव्यता की चालीस सोपानों का वर्णन करती है, जिन पर चलकर व्यक्ति एक संतुष्ट जीवन व्यतीत कर सकता है एवं आध्यात्मिक विकास भी प्राप्त करता है |
J2007VARIANT | SELLER | PRICE | QUANTITY |
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वरिष्ठ नागरिकों को लक्षित यह पुस्तक स्वामीजी ने आदि शंकराचार्य रचित "साधना पंचकम" को आधार बनाकर लिखी है |
उनकी व्याख्या दिव्यता की चालीस सोपानों का वर्णन करती है, जिन पर चलकर व्यक्ति एक संतुष्ट जीवन व्यतीत कर सकता है एवं आध्यात्मिक विकास भी प्राप्त करता है |