विवेकचूड़ामणि भगवद् गीता एवं उपनिषदों का सार है| यह साधक को पुनः शिक्षित करती है तथा व्यवस्थित ढंग से जीवन के विषय में एक नवीन एवं स्पष्ट दृष्टिकोण प्रदान करती है| वेदान्त के इस विस्तृत वर्णन में आदि शंकराचार्यजी ने जीवन का लक्ष्य एवं उसे प्राप्त करने की साधना का विस्तार से स्पष्टीकरण किया है|
विवेकचूड़ामणि का गहन अध्ययन करने वाले साधक को निश्चय ही आत्मविकास के लिए अन्य किसी सहायता की आवश्यकता नहीं है|
PACK13VARIANT | SELLER | PRICE | QUANTITY |
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विवेकचूड़ामणि भगवद् गीता एवं उपनिषदों का सार है| यह साधक को पुनः शिक्षित करती है तथा व्यवस्थित ढंग से जीवन के विषय में एक नवीन एवं स्पष्ट दृष्टिकोण प्रदान करती है| वेदान्त के इस विस्तृत वर्णन में आदि शंकराचार्यजी ने जीवन का लक्ष्य एवं उसे प्राप्त करने की साधना का विस्तार से स्पष्टीकरण किया है|
विवेकचूड़ामणि का गहन अध्ययन करने वाले साधक को निश्चय ही आत्मविकास के लिए अन्य किसी सहायता की आवश्यकता नहीं है|